मुर्मू पर टिप्पणी के खिलाफ स्मृति ने साधा ममता पर निशाना, लॉकेट चटर्जी ने दर्ज कराई शिकायत
नई दिल्ली । राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के खिलाफ कथित आपत्तिजनक बयान देखकर पश्चिम बंगाल के मंत्री अखिल गिरी लगातार आलोचना का सामना कर रहे हैं। भाजपा टीएमसी पर जबरदस्त तरीके से हमलावर है। केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने भी पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी पर निशाना साधा है। स्मृति ईरानी ने कहा अब देखना यह है कि आखिर अखिल गिरी को सीएम ममता बनर्जी कब बर्खास्त करती हैं।
स्मृति ईरानी ने कहा पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बैनर्जी राष्ट्रपति मुर्मू के खिलाफ टीएमसी के मंत्री अखिल गिरि की टिप्पणी पर कुछ नहीं बोल रही हैं। हम उस मंत्री की बात नहीं सुनना चाहते, हम जानना चाहते हैं कि ममता बैनर्जी कब अखिल गिरि को पार्टी से हटाती हैं। दूसरी ओर भाजपा के सांसद लॉकेट चटर्जी ने अखिल गिरी के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है। भाजपा सांसद लॉकेट चटर्जी ने नंदीग्राम में डब्ल्यूबी मिनिस्टर और टीएमसी नेता अखिल गिरि द्वारा राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पर अपमानजनक टिप्पणी के खिलाफ नॉर्थ एवेन्यू पीएस में शिकायत दर्ज कराई है।
लाकेट चटर्जी ने आईपीसी और एससी-एसटी अधिनियम की धाराओं के तहत गिरि के खिलाफ तत्काल कार्रवाई और प्राथमिकी दर्ज करने का अनुरोध किया है। उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी को बयान देना चाहिए। अखिल गिरि उनकी सरकार में मंत्री हैं, उन्हें उन्हें तुरंत बर्खास्त करना चाहिए, उन्हें दिल्ली आकर माफी मांगनी चाहिए। गिरि के बयान से साफ हो गया है कि यह उनकी पार्टी के नेताओं की असली भावना है।
ओडिशा से आने वाले केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) प्रमुख और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए। प्रधान ने ट्विटर पर गिरि की अलोचना करने के दौरान बनर्जी को भी ट्वीट टैग किया। प्रधान ने ट्वीट किया, यदि आप की पार्टी का एक सदस्य आपकी कैबिनेट में रहते हुए देश की प्रथम नागरिक और महिला का अपमान करता है, तो आपको मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा दे देना चाहिए। अखिल गिरि का मंत्री पद पर बने रहना देश की सभी महिलाओं का अपमान है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने द्रौपदी मुर्मू के बारे में पश्चिम बंगाल के मंत्री की असंसदीय टिप्पणी की निंदा करते हुए कहा कि किसी को भी राष्ट्रपति पर इस तरह की टिप्पणी करने का अधिकार नहीं है।